पाकिस्तान आतंकियों को पनाह देने से अछूता नहीं है. पाकिस्तान किसी भी देश से खुलकर मुकाबला करने की स्थिति में नहीं है. ऐसे में वह आतंकियों को भेजकर पड़ोसियों को परेशान करता है। देशों ने भी उसे सबक सिखाने की ठान ली है. आज अचानक 26 फरवरी 2019 क्यों चर्चा में आ गया है, जिस दिन भारत ने पाकिस्तान में 'तबाही' मचाई थी.
मंगलवार रात ईरान ने अचानक पाकिस्तान पर एक के बाद एक कई मिसाइलें दागीं. ईरान का यह हवाई हमला बलूचिस्तान स्थित आतंकी संगठन जैश अल-अदल के अड्डे पर किया गया है. पाकिस्तान ने भी मान लिया है कि यह हमला ईरान ने कराया था. इस हमले में दो बच्चों की मौत हो गई है और कई आतंकी ठिकाने भी नष्ट हो गए हैं. इस पर भारत के हवाई हमलों की चर्चा जरूरी है. वह दिन भी पाकिस्तान के लिए काली रात थी.
भारतीय वायुसेना ने बालाकोट में हमला किया
करीब पांच साल पहले 14 फरवरी 2019 को जैश-ए-मोहम्मद ने पुलवामा में सुरक्षा बलों पर आतंकी हमला किया था, जिसमें हमारे 40 जवान शहीद हो गए थे. भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ जवाबी कार्रवाई करने का फैसला किया और लगभग 12 दिन बाद 26 फरवरी 2019 को बालाकोट में हवाई हमला किया। भारतीय वायुसेना के लड़ाकू विमानों ने सीमा पार कर बालाकोट स्थित आतंकी ठिकानों पर बमबारी की.
भारत के हवाई हमले से पाकिस्तानी सरकार हिल गई
एयर स्ट्राइक के दौरान एक भारतीय लड़ाकू विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया, जिससे भारतीय वायुसेना के जांबाज विंग कमांडर अभिनंदन पाकिस्तान की सीमा में पहुंच गए. भारत की कार्रवाई से पाकिस्तान की इमरान सरकार हिल गई है. इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि पाकिस्तान ने 48 घंटे के अंदर ही भारतीय जवान अभिनंदन को रिहा करने का ऐलान कर दिया. ऐसे में ईरान के हवाई हमले ने भारत के हवाई हमले की याद ताजा कर दी है.